बांग्लादेशी घुसपैठियों का फर्जी प्रमाण पत्र घोटाला, राष्ट्रीय सुरक्षा पर गंभीर खतरा: डॉ. दिनेशानंद गोस्वामी झामुमो सरकार पर निष्क्रियता और संरक्षण देने का आरोप, एसआईटी जांच की मांग

जमशेदपुर। पूर्वी सिंहभूम जिले के चाकुलिया प्रखंड की मटियाबंधी पंचायत में फर्जी जन्म प्रमाण पत्र घोटाले ने झारखंड की राजनीति में हलचल मचा दी है। इस मुद्दे पर झारखंड भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिनेशानंद गोस्वामी ने जिला भाजपा कार्यालय, साकची में प्रेस वार्ता कर बड़ा खुलासा किया। उन्होंने इस घोटाले को राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा बताते हुए दावा किया कि बांग्लादेशी घुसपैठिए फर्जी दस्तावेज तैयार कर सरकारी योजनाओं और पहचान प्रणाली में घुसपैठ कर रहे हैं।

गोस्वामी ने आरोप लगाया कि मटियाबंधी पंचायत, जहां कोई मुस्लिम परिवार नहीं रहता, वहां वर्ष 2024 में 4,411 जन्म प्रमाण पत्र जारी किए गए, जिनमें 715 मुस्लिम नामों पर हैं। उन्होंने कहा कि यह आंकड़ा स्पष्ट रूप से सरकारी तंत्र की मिलीभगत और एक संगठित रैकेट की ओर इशारा करता है। “जब पंचायत में मुस्लिम परिवार नहीं हैं, तो यह फर्जी प्रमाण पत्र कैसे जारी हुए?” उन्होंने सवाल उठाते हुए कहा।

उन्होंने यह भी बताया कि यह मामला सिर्फ मटियाबंधी तक सीमित नहीं है। पास की मारकुंडी और बालीजुड़ी पंचायतों में भी ऐसे घोटालों के प्रमाण मिले हैं। रांची से गिरफ्तार आरिफ आलम के जरिये यह रैकेट राज्यभर में फैला है, जिसमें बुंडू, बोकारो, धनबाद और गुमला जैसे जिले भी शामिल हैं।

गोस्वामी ने कहा कि घुसपैठिए इन फर्जी प्रमाण पत्रों के जरिए आधार कार्ड, वोटर आईडी और सरकारी योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं, जिससे आदिवासी और मूलनिवासी समुदायों के अधिकार छिने जा रहे हैं। उन्होंने बालीजुड़ी पंचायत का उदाहरण देते हुए कहा कि वहां एक मुस्लिम महिला को ‘मैया सम्मान योजना’ का लाभ दिया गया, जबकि पंचायत में कोई मुस्लिम परिवार नहीं है।

इस गंभीर मामले पर डॉ. गोस्वामी ने झारखंड सरकार से पिछले पांच वर्षों में जारी सभी जन्म प्रमाण पत्रों की जांच की मांग की है और एसआईटी गठित करने की आवश्यकता बताई है। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर सरकार ने कार्रवाई नहीं की तो पूर्वी सिंहभूम का हाल भी संथाल परगना जैसा हो सकता है, जहां घुसपैठियों ने स्थानीय संसाधनों पर कब्जा जमा लिया है।

अवैध बालू खनन पर भी साधा निशाना

प्रेस वार्ता के दौरान डॉ. गोस्वामी ने झामुमो पर अवैध बालू खनन को लेकर भी गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि स्वर्णरेखा नदी से बड़े पैमाने पर बालू उठाव हो रहा है, जिसे झामुमो नेताओं का संरक्षण प्राप्त है। उन्होंने बहरागोड़ा के उप प्रमुख मनोरंजन होता के खिलाफ दर्ज एफआईआर का हवाला दिया और आरोप लगाया कि प्रशासन जानबूझकर कार्रवाई नहीं कर रहा क्योंकि होता, विधायक का करीबी है।

उन्होंने मीडिया को मनोरंजन होता और विधायक की तस्वीरें भी साझा कीं और कहा कि इस मामले को भाजपा विधायक राज सिन्हा ने विधानसभा में भी उठाया, लेकिन राज्य सरकार ने कोई ठोस कदम नहीं उठाया।

“जल-जंगल-जमीन” का नारा खोखला

डॉ. गोस्वामी ने झामुमो के “जल-जंगल-जमीन” के नारे को खोखला बताते हुए कहा कि आदिवासियों के नाम पर सत्ता में आए झामुमो नेताओं की संलिप्तता के चलते असली हकदारों का शोषण हो रहा है। उन्होंने कहा कि भाजपा यह कभी नहीं होने देगी कि बांग्लादेशी घुसपैठिए फर्जी कागजात बनाकर जिले के नागरिक बनें और मूलवासी समुदाय के अधिकारों पर कब्जा करें।

प्रेस वार्ता में मौजूद रहे भाजपा नेता

प्रेस वार्ता में भाजपा जमशेदपुर महानगर अध्यक्ष सुधांशु ओझा, जिला उपाध्यक्ष संजीव सिन्हा, बबुआ सिंह एवं जिला मीडिया प्रभारी प्रेम झा भी मौजूद थे।