जमशेदपुर समाहरणालय सभागार में बुधवार को उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी के निर्देशानुसार जिला खनन टास्क फोर्स की बैठक आयोजित हुई। बैठक की अध्यक्षता उप विकास आयुक्त नागेन्द्र पासवान ने की। बैठक में पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) ऋषभ गर्ग, एडीएम लॉ एंड ऑर्डर भगीरथ प्रसाद, डीटीओ धनंजय, एसडीएम घाटशिला सुनील चंद्र, एसडीएम धालभूम चंद्रजीत सिंह, एसडीपीओ घाटशिला अजीत कुजूर, डीएमओ सतीश नायक सहित संबंधित विभागीय पदाधिकारी मौजूद रहे। वहीं अंचलाधिकारी और थाना प्रभारी वर्चुअल माध्यम से जुड़े।
अवैध बालू उत्खनन व ओवरलोडिंग पर विशेष नजर
बैठक में जिले में अवैध खनन, परिवहन और भंडारण की रोकथाम के लिए चलाए जा रहे अभियानों की समीक्षा की गई। स्वर्णरेखा और खरकई नदी से अवैध बालू उत्खनन व परिवहन, वन क्षेत्रों में अवैध खनन, बिना पंजीकरण वाले वाहनों की धरपकड़ और ओवरलोडेड वाहनों की जांच को लेकर विभागवार रिपोर्ट पेश की गई।
साथ ही, क्षेत्रीय प्रदूषण नियंत्रण परिषद द्वारा एनजीटी और न्यायालय के आदेशों के आलोक में पर्यावरण मुआवजा वसूली की प्रगति पर भी चर्चा हुई।
13 दिनों में 317.6 टन खनिज जब्त
प्रस्तुत आंकड़ों के अनुसार, 30 जुलाई से 12 अगस्त 2025 तक जिला स्तरीय खनन टास्क फोर्स ने 24 निरीक्षण किए, जिसमें 317.6 टन खनिज (275.6 टन बालू और 42 टन पत्थर) जब्त किए गए। इस दौरान 12 वाहन जप्त हुए, 8 प्राथमिकी दर्ज की गईं और ₹7.08 लाख की वसूली हुई।
प्रशासन का सख्त संदेश – लापरवाही बर्दाश्त नहीं
उप विकास आयुक्त नागेन्द्र पासवान ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि अभियान को लगातार जारी रखें और किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त न की जाए। दोषियों, संचालकों और वाहन मालिकों के खिलाफ नियमों के तहत कठोरतम कार्रवाई करने को कहा।
उन्होंने खनन, पुलिस, वन, परिवहन और प्रदूषण नियंत्रण विभाग को आपसी तालमेल और त्वरित सूचना आदान-प्रदान के साथ काम करने के निर्देश दिए, ताकि खनिज संपदा की सुरक्षा, राजस्व वृद्धि और पर्यावरण संरक्षण सुनिश्चित हो सके।
उन्होंने साफ किया कि जनहित और राज्यहित में खनन गतिविधियां पूरी तरह कानून के दायरे में हों और इसके लिए प्रशासन हर स्तर पर सख्त रुख अपनाएगा।
