बागबेड़ा में 600वां आंदोलन: ग्रामीणों की लंबे संघर्ष की कहानी
Jamshedpur:जमशेदपुर, 11 जनवरी: बागबेड़ा ग्रामीण जलापूर्ति योजना को धरातल पर लाने और बागबेड़ा, किताडीह, हरगुड़ी और परसुडीह को मिलाकर नगर परिषद का गठन करने की मांग को लेकर रामनगर हनुमान मंदिर चौक पर आज एक दिवसीय धरना प्रदर्शन किया गया।
इस आंदोलन का नेतृत्व बागबेड़ा महानगर विकास समिति के अध्यक्ष सुबोध झा ने किया।
2005 से चल रहे संघर्ष का 600वां चरण
सुबोध झा ने बताया कि उनकी समिति 2005 से अब तक 599 आंदोलन कर चुकी है, और आज का प्रदर्शन 600वें आंदोलन का प्रतीक है।
उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा,
“लगातार आंदोलन करने के बावजूद क्षेत्र की जनता को सिर्फ झूठे वादे मिले हैं। आज तक पानी की एक बूंद भी जनता तक नहीं पहुंची। फंड का दुरुपयोग हो रहा है, और अधिकारी सिर्फ आश्वासन देकर जनता को गुमराह कर रहे हैं।”
हर गांव में जनजागरण से लेकर विधानसभा घेराव तक की योजना
धरने के दौरान समिति ने घोषणा की कि आंदोलन के पहले चरण में हर गांव में जनजागरण अभियान चलाया जाएगा। इसके बाद विधानसभा और लोकसभा का घेराव किया जाएगा।
भाजपा ने लगाया सरकार पर आरोप
इस प्रदर्शन में भारतीय जनता पार्टी के जिलाध्यक्ष सुधांशु ओझा ने भी भाग लिया। उन्होंने कहा,
“यह योजना पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास की देन है। भाजपा इसे धरातल पर उतारने के लिए ग्रामीण जनता और समिति के साथ खड़ी है। वर्तमान झारखंड मुक्ति मोर्चा और कांग्रेस सरकार इस योजना को लागू करने में विफल रही है।”
जलापूर्ति योजना के लिए धन का दुरुपयोग: जनहित याचिका दायर होगी
समिति की संयोजक पवित्र पांडे ने बताया कि जलापूर्ति योजना के लिए आवंटित 237 करोड़ रुपये का सही इस्तेमाल नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर झारखंड हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की जाएगी।
प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा गया
आंदोलन समाप्त होने के बाद समिति का एक प्रतिनिधिमंडल उपायुक्त कार्यालय पहुंचा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम ज्ञापन सौंपा।
सैकड़ों ग्रामीणों की भागीदारी
धरने में बड़ी संख्या में महिलाएं और ग्रामीण शामिल हुए। प्रमुख लोगों में विनोद राम, पवित्र पांडे, दीपक डांगी, रेनू शर्मा, आरती सिंह, भारती देवी, प्रेमशिला देवी और राजेश मिश्रा शामिल थे।
समिति ने घोषणा की कि अगला धरना गांधी नगर में आयोजित किया जाएगा।