घाटशिला : स्वतंत्रता संग्राम के अमर सेनानी और देश के सबसे कम उम्र के शहीद, अग्निपुत्र खुदीराम बोस की शहादत दिवस के अवसर पर घाटशिला जन संपर्क कार्यालय, फुलडूंगरी पावड़ा में झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के कार्यकर्ताओं ने श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया। इस मौके पर पार्टी के नेताओं, कार्यकर्ताओं और स्थानीय नागरिकों ने उनके चित्र पर माल्यार्पण कर उन्हें नमन किया और दो मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि अर्पित की।
शहादत और देशभक्ति का अद्भुत उदाहरण
श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए घाटशिला विधानसभा के विधायक सह मंत्री प्रतिनिधि जगदीश भकत ने कहा कि खुदीराम बोस भारत के स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में सबसे कम उम्र के शहीद के रूप में जाने जाते हैं। उनका जीवन केवल 18 वर्ष, 8 माह और 8 दिन का था, लेकिन इतनी छोटी उम्र में उन्होंने अपने देश की स्वतंत्रता के लिए प्राणों का बलिदान दिया। उनका जन्म पश्चिम बंगाल के पश्चिम मेदिनीपुर जिले में हुआ था और उन्होंने मुजफ्फरपुर जेल में फांसी के फंदे को चूमा।जगदीश भकत ने कहा कि खुदीराम बोस का जीवन युवाओं के लिए प्रेरणा स्रोत है। उनका एकमात्र उद्देश्य देश को अंग्रेजी हुकूमत से मुक्त कराना था। वे आज भी साहस, देशभक्ति और बलिदान के प्रतीक के रूप में अमर हैं।
माल्यार्पण और मौन श्रद्धांजलि
कार्यक्रम के दौरान उपस्थित लोगों ने उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी। सभी ने दो मिनट का मौन रखकर उनकी आत्मा की शांति के लिए भगवान से प्रार्थना की। सभा में वक्ताओं ने कहा कि खुदीराम बोस के बलिदान को कभी भुलाया नहीं जा सकता और आने वाली पीढ़ियों को उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए।
कार्यक्रम में उपस्थित लोग
इस मौके पर युवा मोर्चा के पूर्व उपाध्यक्ष विक्टर सोरेन, सोनाराम सोरेन, विकास मजुमदार, अंपा हेंब्रम, सुशील मार्डी, बादल किस्कू, देवलाल महतो, प्रफुल्ल हांसदा, आनंद गोयल, प्रकाश निषाद, राजा सिंह, सौरभ बोस, शिवम शर्मा, सूरज गोप, मनोज भकत, जितेन दास सहित झामुमो के कई कार्यकर्ता और समर्थक उपस्थित रहे।